Ganesh Chaturthi: भगवान गणेश के प्रिय भोग से जुड़ी रोचक जानकारी
Ganesh Chaturthi: भगवान गणेश के प्रिय भोग से जुड़ी रोचक जानकारी |
गणेश चतुर्थी: भगवान गणेश को प्रिय इन चीजों का लगाएं भोग
भगवान गणेश की पूजा हिन्दू धर्म में एक महत्वपूर्ण त्योहार है, और यह पूरे भारत में खुशी के साथ मनाया जाता है। इस दिन भगवान गणेश की मूर्ति को घरों में स्थापित किया जाता है और उनकी पूजा-अर्चना की जाती है। गणेश चतुर्थी के इस पावन अवसर पर भगवान गणेश को प्रिय चीजों का भोग लगाना एक महत्वपूर्ण पारंपरिक प्रक्रिया है, और इसमें कुछ खास चीजें होती हैं जिन्हें आपको जानना चाहिए।
मोदक (Modak): मोदक गणेश जी का प्रिय भोग है। यह एक प्रकार की मिठाई होती है जिसे राइस फ्लोर और गुड़ से बनाया जाता है। मोदक की आकृति गणेश जी की पोटबेली की तरह होती है और इसका स्वाद अत्यधिक मिठा होता है।
मोदक (Modak) |
केला (Banana): गणेश जी को केले का भी बहुत पसंद है। केला उनके बलि चढ़ाने का एक महत्वपूर्ण भाग होता है।
दूध (Milk): गणेश जी को दूध का भोग भी बड़े पसंद है। धूप और दीपक के साथ दूध की भरपूर अर्चना करनी चाहिए।
सूजी का हलवा (Semolina Halwa): एक और प्रिय भोग है सूजी का हलवा। यह खासतर सुबह की पूजा में बनाया जाता है और गणेश जी को भोग लगाया जाता है।
लड्डू (Ladoo): लड्डू भी एक प्रिय मिठाई है जो गणेश जी को अर्पित की जाती है। यह चावल या बेसन से बना होता है और गुड़ और घी के साथ मिलाया जाता है।
सुपारी (Betel Nut): गणेश जी को सुपारी भी प्रिय होती है। सुपारी को बेल पत्ती के साथ रखकर पूजा किया जाता है।
फूल (Flowers): फूलों का अर्चना गणेश चतुर्थी पर अत्यंत महत्वपूर्ण है। हरिद्रा गणेश जी के पूजन के लिए काफी उपयुक्त होता है।
लाल चन्दन (Red Sandalwood): लाल चन्दन गणेश जी को प्रिय है और उनके चित्र पर लाल चन्दन का तिलक लगाना बड़े शुभ माना जाता है।
सोने की मूर्ति (Gold Idol): कुछ लोग गणेश चतुर्थी पर सोने की मूर्ति भी बनवाते हैं और उन्हें भगवान गणेश को अर्पित करते हैं।
गणेश चतुर्थी पर भगवान गणेश को ये चीजें भोग लगाने से उनकी कृपा और आशीर्वाद मिलता है। यह एक पावन परंपरा है जो हर वर्ष मनाई जाती है और भक्तों के लिए एक खास मौका होता है गणेश जी के साथ अपनी भक्ति और समर्पण का इज़हार करने का। इस गणेश चतुर्थी पर, हमें यह याद दिलाना चाहिए कि भगवान गणेश के प्रिय भोग को अच्छी तरह से तैयार करके उनकी पूजा करना हमारा धर्मिक कर्तव्य है।
Post a Comment
Please do not enter any SPAM LINK in Comment Box.